#H234
देश मांग रहा बलिदान (The country is asking for sacrifice)
"कविता में देश को महान बनाने के बारे में बताया गया है। "
देश के सम्मान में,
बोलो अपनी जबान से ,
जय हिंद, जय हिंद, जय हिंद।
बोलो अपनी जबान में ,
फिर चाहे जबान हिन्दी हो, या पंजाबी,
या हो तमिल, तेलुगु ,कन्नड़, या मलयाली,
या हो उड़िया, मराठी, या गुजराती ,
या हो बंगला, या असमिया,
या बोलो उर्दू, या अंग्रेजी,
बोलो चाहे कोई जबान।
सबसे पहले हिन्दुस्तान।
सदा रहे लबों पर तेरे,
देश का सम्मान ।
हमारा देश बने महान।
जय हिंद, जय हिंद, जय हिंद।
कैसे बने देश महान ?
देश मांग रहा अपने बच्चों से,
पूरी मेहनत, और समर्पण,
भ्रष्टाचार का उन्मूलन,
तभी बनेगा, देश महान।
देश में बने माल को अपनाओ।
देशी पहनो, देशी खाओ।
स्वस्थ बनो और,
अनुशासित हो जाओ।
देशी ही तुम चलाओ।
देशी में ही लिखो,
देशी में ही गाओ।
अपनी भाषा से न भागो।
देशी में साफ्टवेयर बनाओ।
देशी से न बिलकुल शर्माओ
तभी बनेगा देश महान।
बस मांग रहा यह बलिदान।
यह भी न दे पाऐ,
तो फिर तुम कैसी हो संतान।
कैसे देश बने महान ?
देशी से ही होगा,
इस देश का कल्याण।
हमारा देश बने महान।
जय हिंद, जय हिंद, जय हिंद।
देवेन्द्र प्रताप "नासमझ"
दिनांक 28 अगस्त 2024,©
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